जिले में 24 घंटे में 28 मुकदमे दर्ज
बलिया। तीन नए कानून लागू होने के बाद जिले में 24 घंटे में 28 मुकदमे दर्ज किए गए। रसड़ा थाने में सोमवार की शाम 6.49 बजे भारतीय दंड संहिता के तहत पहला मुकदमा दर्ज किया गया। सोमवार को कुल 13 मुकदमे दर्ज किए गए। रेकहां गांव निवासी संयोगी देवी ने पड़ोसियों पर मारपीट का आरोप लगाया। पुलिस ने भादंसं 2023 की धारा 115(1), 352 व 351(2) के तहत मुकदमा दर्ज किया, जबकि पहले भादंसं की धारा 323, 352 व 506 के तहत मुकदमा दर्ज किया गया था। अब तक सबसे ज्यादा मुकदमे मारपीट के आए हैं।
दूसरे दिन मंगलवार को पुलिस ने विभिन्न थानों में 15 मुकदमे दर्ज किए। पुलिस ने देर रात और मामले बढ़ने की आशंका जताई है। पकड़ी थाने की एक विवाहिता ने अपने मायके आकर आत्महत्या कर ली। घटना की सूचना मिलने पर पुलिस मौके पर पहुंची और नए कानून भारतीय साक्ष्य अधिनियम के तहत डिजिटल साक्ष्य एकत्र किए। मौत से पहले विवाहिता ने किसी से फोन पर बात करने के बाद आत्महत्या कर ली। पुलिस मोबाइल की सीडीआर की मदद से जांच करेगी। विवाहिता की मौत के बाद भारतीय साक्ष्य अधिनियम के तहत डिजिटल साक्ष्य एकत्रित किए गए।
थाना प्रभारी अजय यादव ने बताया कि मृतका के पिता दूर से आ रहे हैं और देर रात तक पहुंचेंगे। तहरीर मिलने पर नए कानून के तहत मुकदमा दर्ज किया जाएगा। भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस 2023), भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता (बीएनएसएस 2023) और भारतीय साक्ष्य अधिनियम 2023 की नई धारा और कानून को लेकर पुलिस और वकीलों में असमंजस की स्थिति है। दो दिन में नए कानून के तहत कोर्ट में एक भी केस दर्ज करने का आदेश नहीं हुआ। थाने में तैनात मुंशी के प्रशिक्षित होने के बाद वह अन्य सिपाहियों और अफसरों को प्रशिक्षित करते हैं। अपडेट होते दिखे। पीड़िता की शिकायत मिलने के बाद थाना प्रभारी मुंशी के साथ नए कानून की ई-फाइल खंगालते और धाराओं का मिलान करते नजर आए। अभी नए कानून के तहत केस दर्ज करने में काफी समय लग रहा है। यही वजह है कि पुलिस ने ज्यादातर केस दिन की बजाय रात में दर्ज किए। थाने से जुड़ी कोर्ट में पुलिस विभाग के लोग और अधिवक्ता नए कानून की धाराओं को पढ़ने के साथ खुद को अपडेट करने में जुटे रहे। पुलिस अधिकारी पूरे दिन आम जनता को नए कानून के बारे में जागरूक करते नजर आए।
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